संघ का राजनीती के क्या सम्बन्ध है? भाजपा के साथ संघ का क्या रिश्ता है |
भाजपा के साथ संघ का क्या रिश्ता है?
किसी भी देश में समाज अपनी सुविधा के लिए व्यवस्थाएं खड़ी करता है । संघ सम्पूर्ण समाज के लिए कार्य करता है ।संघ के स्वयंसेवक ए राष्ट्रिय दृष्टिकोण लेकर समाज के विभिन्न बीच सक्रिय हैं।
देशहित में कार्य करने वाले संगठन या संस्था के साथ इस तरह का सहयोग करता सहता है। संघ कि देश के विकास के लिए एक विशिष्ट अवधारणा, कल्पना है। एक विचार है उस विचार से जो दल सहमत होते हैं । उस दल के साथ स्वयंसेवकों कि स्वाभाविक सहानुभुति और समर्थन जाता हैं। भाजपा संघ के इस विचार को साझा करती है और इसिलिए संघ के स्वयंसेवकों का स्वाभाविक समर्थन मिलेगा । परन्तु संघ किसी भी दल के लिए नहीं है देश के लिए काम करता है।
संघ खुद को राजनिति से दूर रखता है ,तो बिजेपी के विरोधी संघ पर आरोप क्यों लगातें है।
क्योंकि संघ कि ताकत उनकी इच्छा के खिलाफ बढ़ रही हो इसलिए । उन्होंने संघ को रोकने, बदनाम करने और समाप्त करने कि भरपूर कोशीश कि है, बावजूद संघ आगे बढ़ता गया संघ संस्थापक डाॅ. हेडगेवार जी कहा करते थे कि -'सबकों साथ लेकर चलने का प्रयास करना चाहिएं ' संघ के कार्यक्रम में हम सबको बुलाते हैं। केरल के कोल्लम मैं संघ का बड़ा कार्यक्रम हुआ था 92 हजार संघ के स्वयंसेवक पूर्ण गणवेश में आए थे,उनकी तैयारी में अस्थाई कार्यालय खोला था। उसके उद्घाटन के लिए कोल्लम के मेयर को संघ ने बुलाया था मेयर आए थे जो सीपीएम के थे। सीपीएम को प्राब्लम हुई थी तो उन पर कारवाई की थी तो उन्हें क्या दिक्कत थी की हमतो सबकों साथ लेकर चलते हैं।
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